Supreme Court Judges Salary: भारतीय न्यायपालिका के शीर्ष पर सुप्रीम कोर्ट भारत के संविधान को बनाए रखने, नागरिकों के अधिकारों और स्वतंत्रता की रक्षा करने और कानून के शासन के मूल्यों को बनाए रखने के लिए सबसे बड़ी अथॉरिटी है। इसलिए, इसे हमारे संविधान के संरक्षक के रूप में जाना जाता है।
सुप्रीम कोर्ट में चीफ जस्टिस के अलावा कई जज होते हैं, जिनकी बेंच रोजाना कई अलग-अलग मामलों की सुनवाई करती है। इसी बीच लोगों के मन में सुप्रीम कोर्ट और इसके जजों को लेकर कई सवाल उठते हैं, जिनमें एक सवाल ये भी है कि भारत के चीफ जस्टिस और सुप्रीम कोर्ट के बाकी जजों की सैलरी कितनी होती है? आइए हम आपको बताते हैं…

सुप्रीम कोर्ट में न्यायाधीशों की नियुक्ति (Supreme Court Judges Salary)
सुप्रीम कोर्ट देश की सबसे बड़ी अदालत होती है, जहां तमाम बड़े और ऐतिहासिक फैसले सुनाए जाते हैं। सुप्रीम कोर्ट में चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया को मिलाकर कुल 33 जज होते हैं। सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीशों की नियुक्ति राष्ट्रपति द्वारा संविधान के अनुच्छेद 124 के खंड (2) के अंतर्गत की जाती है। हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस और जजों को कॉलेजियम प्रोसेस के तहत सुप्रीम कोर्ट में बतौर जज चुना जाता है। (Supreme Court Judges Salary)

कितनी मिलती है सैलरी?
अब सुप्रीम कोर्ट के जजों की सैलरी की बात करें तो ये प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी ज्यादा है। पीएम को सभी भत्ते मिलाकर करीब दो लाख रुपये सैलरी मिलती है। जबकि सुप्रीम कोर्ट के एक जज की सैलरी ढ़ाई लाख रुपये महीने से ज्यादा होती है। हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को भी इतनी ही सैलरी मिलती है। वहीं बार एंड बेंच की रिपोर्ट के मुताबिक चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया की मौजूदा सैलरी दो लाख 80 हजार है।

इसके अलावा सुप्रीम कोर्ट में सीजेआई और बाकी जजों को कुछ और तरह के अलाउंस भी दिए जाते हैं, जिसमें हॉस्पिटैलिटी अलाउंस भी शामिल है। साल 2018 के बाद से जजों की सैलरी में ये इजाफा किया गया, इससे पहले सीजेआई को एक लाख रुपये और बाकी जजों को 90 हजार रुपये की सैलरी मिलती थी। इसी तरह हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस की सैलरी भी 90 हजार रुपये थी। (Supreme Court Judges Salary)